News Aazad Bharat

मंत्री कश्यप ने जल संसाधन विभाग की समीक्षा बैठक में अधिकारियों को दिए कड़े निर्देश

विभागीय कार्यों में आ रही तकनीकी समस्याओं का आपसी समन्वय से करें निराकरण: मंत्री श्री केदार कश्यप  रायपुर विभागीय कार्यों में आ रही समस्याओं का निराकरण आपसी समन्वय स्थापित कर समय-सीमा में निराकरण करें। यह बातें जल संसाधन मंत्री श्री केदार कश्यप ने आज शिवनाथ भवन अटल नगर में आयोजित विभागीय समीक्षा बैठक में कही। उन्होंने बैठक में जल संसाधन विभाग की विभिन्न योजनाओं की प्रगति की गहन समीक्षा की और स्पष्ट निर्देश दिए कि विभागीय कार्यों में लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।  सचिव श्री राजेश सुकुमार टोप्पो ने बैठक का संचालन करते हुए कहा कि एमआईएस में आ रही समस्याओं का आपसी समन्वय स्थापित कर 19 अगस्त 2025 के पूर्व समस्त तकनीकी विषयों पर आवश्यक निर्णय लेते हुए निराकरण कर लिया जाए। साथ ही तकनीकी स्वीकृति से संबधित वित्तीय अधिकार को युक्तियुक्त करने हेतु प्रस्ताव 06 अगस्त 2025 तक शासन को उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें। निविदा प्रपत्र के अंतर्गत 108 प्रकरणों में दोषी पाये गये निविदाकारों के विरूद्ध कार्यवाही एक सप्ताह के भीतर अनिवार्यतः पूर्ण करें और दोषी पाए गए निविदाकारों को आगामी निविदा में भाग लेने के संबंध में निविदा कंडिका में संशोधन हेतु प्रस्ताव एक सप्ताह के भीतर शासन को प्रेषित करना सुनिश्चित करें।  बैठक में सचिव श्री टोप्पो ने अधिकारियों को एमआईएस में संबंधित प्रविष्टी प्रदर्शित होने के लिए आवश्यक व्यवस्था भी समय-सीमा में पूर्ण करने के निर्देश दिए।  इसके साथ ही निविदा प्रक्रिया में आ रही समस्याओं का संबंधित मुख्य अभियंता एवं निविदा प्रकोष्ठ कार्यालय प्रमुख अभियंता आपस में समन्वय स्थापित कर निराकरण हेतु आवश्यक कार्यवाही करें। उन्होंने कहा कि बोधघाट वृहद् परियोजना, इन्द्रावती-महानदी इंटरलिंकिंग परियोजना, शेखरपुर जलाशय एवं डांडपानी जलाशय के निर्माण हेतु आवश्यक कार्यवाही पूरी कर तथा प्रशासकीय स्वीकृति प्राप्त योजनाओं में निविदा स्वीकृति का कार्य निर्धारित 100 दिवस की समय-सीमा में पूर्ण किया जाना सुनिश्चित करें।  सचिव श्री राजेश सुकुमार टोप्पो ने बैठक में जलाशयों से कृषकों की माँग के अनुरूप नियमानुसार आवश्यक कार्यवाही करते हुए जल प्रदाय किया जाना सुनिश्चित करने की बात कही। उन्होंने विभिन्न विषयों पर विभागीय नीति तैयार कर एक माह के भीतर शासन को प्रस्तुत किया जाना सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। साथ ही जल-कर में वृद्धि हेतु प्रस्ताव अविलम्ब प्रस्तुत करने के निर्देश दिए। उन्होंने स्मार्ट मीटरिंग के कार्य को भी पी.पी.पी. माध्यम से कराए जाने हेतु प्रस्ताव अविलम्ब प्रस्तुत करने के निर्देश दिए। सचिव श्री टोप्पो ने मंत्री श्री कश्यप को बताया कि विशेष केन्द्रीय सहायता प्राप्त करने हेतु प्रस्ताव एक सप्ताह के भीतर प्रस्तुत कर दिया जाएगा और परियोजना मण्डल की आगामी बैठक हेतु आवश्यक तैयारियां एक सप्ताह के भीतर पूर्ण कर लिया जाएगा। उन्होंने आश्वस्त किया कि मुख्यमंत्री की घोषणाओं के क्रियान्वयन हेतु आवश्यक कार्यवाही भी समय से पूर्ण कर लिया जाएगा। इस अवसर पर प्रमुख अभियंता श्री इंद्रजीत उईके, मुख्य अभियंता सर्वश्री प्रसून शर्मा, डी.के. बुम्मेरकर, जे.आर. भगत, आर.आर. सारथी, एस.के. टीकम, शंकर ठाकुर, के. एस. भंडारी सहित अन्य विभागीय अधिकारी उपस्थित रहे।

अलीगढ़ में रक्षा उत्पादन की नई क्रांति, CM योगी बोले- अब देश की शान बनेगा शहर

अलीगढ़  मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि 'वन डिस्ट्रिक्ट वन प्रोडक्ट' योजना आज देश के अंदर एक मॉडल बनकर उभरी है। सीएम योगी ने लोगों से अपील की कि आज स्वदेशी अपनाना हम सब लोगों की सबसे बड़ी आवश्यकता है। हमारा ही पैसा अगर हमारे ही कारीगर और हस्तशिल्पियों के पास जाएगा तो यह विकास और समृद्धि का आधार बनेगा। प्रति व्यक्ति आय को बढ़ाने में निर्णायक भूमिका का निर्वहन करेगा। सीएम ने कहा कि 2018 में शुरू हुआ डिफेंस कॉरिडोर आज ब्रह्मोस मिसाइल जैसे उन्नत हथियारों का उत्पादन कर रहा है। यह मिसाइल विश्व में अद्वितीय है और भारत के हर दुश्मन को जवाब देने में सक्षम है। उन्होंने 'ऑपरेशन सिंदूर' का जिक्र करते हुए भारत की सैन्य शक्ति और आत्मनिर्भरता की सराहना की। मुख्यमंत्री ने कहा कि अलीगढ़ ड्रोन और हार्डवेयर उद्योग में भी अपनी पहचान बना रहा है, जो स्थानीय कारीगरों को रोजगार और समृद्धि प्रदान कर रहा है। सीएम योगी ने मंगलवार को अलीगढ़ के नुमाइश मैदान में आयोजित एक भव्य समारोह में 958 करोड़ रुपए की 186 विकास परियोजनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास किया। इस दौरान उन्होंने कहा, "अगर हमारा यह पैसा विदेशी हाथों में जाएगा, तो आतंकवाद के रूप में, धर्मांतरण के रूप में, अव्यवस्था के रूप में, विस्फोट के रूप में, भारत को अस्थिर करने के लिए भारत के खिलाफ ही इस्तेमाल किया जाएगा।" सीएम योगी ने आने वाले सभी त्योहारों पर लोगों से अपने स्वजनों को स्वदेशी उत्पादों को गिफ्ट के रूप में देने की अपील की। समारोह में सीएम योगी ने विभिन्न जनकल्याणकारी योजनाओं के लाभार्थियों को प्रमाण पत्र, सहायता राशि, टैबलेट, आवास की चाबियां और आयुष्मान कार्ड वितरित किए। सीएम ने स्थानीय उत्पादों की प्रदर्शनी का अवलोकन किया और भगवान कृष्ण के रूप में सजे बच्चों को दुलारते हुए उन्हें चॉकलेट, माखन और खिलौने भेंट किए। जनसभा को संबोधित करते हुए सीएम योगी ने अलीगढ़ की ऐतिहासिक और सांस्कृतिक विरासत को रेखांकित किया। उन्होंने कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री स्व. कल्याण सिंह ने अलीगढ़ को राष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाई। उनके सपनों को साकार करते हुए हम 'वन डिस्ट्रिक्ट वन प्रोडक्ट' के माध्यम से ताला उद्योग को नई ऊंचाइयां दे रहे हैं। उन्होंने राजा महेंद्र प्रताप सिंह विश्वविद्यालय का उल्लेख करते हुए कहा कि यह विश्वविद्यालय जल्द ही अलीगढ़ को उच्च शिक्षा का नया केंद्र बनाएगा, जो स्वतंत्रता संग्राम की स्मृतियों को जीवित रखने के साथ-साथ युवाओं को उज्ज्वल भविष्य प्रदान करेगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘वोकल फॉर लोकल’ अभियान को दोहराते हुए सीएम योगी ने स्वदेशी उत्पादों को अपनाने की अपील की। उन्होंने कहा कि अलीगढ़ का ताला उद्योग, पीतल की मूर्तियां, और हार्डवेयर आज देश-विदेश में मांग को पूरा कर रहे हैं। विदेशी सामान खरीदने से हमारा पैसा आतंकवाद और अस्थिरता को बढ़ावा देता है। जब हम विदेशी सामान खरीदते हैं, तो उसका मुनाफा आतंकवाद, धर्मांतरण और देशविरोधी ताकतों को मिलता है। उन्होंने मुरादाबाद, फिरोजाबाद, भदोही, और मेरठ जैसे जिलों के ओडीओपी उत्पादों का उदाहरण देते हुए कहा कि ये स्थानीय कारीगरों की समृद्धि और रोजगार का आधार बन रहे हैं। स्वदेशी उत्पादों को अपनाना और इसे बढ़ावा देना आज की जरूरत है। इसी से हम अपने राष्ट्र को मजबूत कर सकते हैं। सीएम योगी आदित्यनाथ ने स्वच्छता अभियान पर जोर देते हुए कहा कि सभी लोग स्वच्छता को जीवन का हिस्सा बनाएं। उन्होंने कहा कि स्वच्छता हमारा राष्ट्रीय कर्तव्य है। 'सिंगल यूज प्लास्टिक' का उपयोग बंद करें, ताकि नालियां न चोक करें और जलभराव की समस्या न हो। उन्होंने स्वतंत्रता दिवस के लिए ‘हर घर तिरंगा’ अभियान की अपील की और कहा कि 13 से 15 अगस्त तक हर घर, प्रतिष्ठान और शिक्षण संस्थान में तिरंगा लहराएं। स्वाधीनता संग्राम के स्मारकों की सफाई करें और शहीदों को श्रद्धांजलि दें। उन्होंने कहा कि यह सिर्फ झंडा नहीं, भारत के गौरव, बलिदान और आत्मसम्मान का प्रतीक है। सीएम योगी ने डबल इंजन सरकार की जीरो टॉलरेंस नीति की सराहना की। उन्होंने कहा कि 2017 से पहले अलीगढ़ और उत्तर प्रदेश के कई जिले दंगों और अराजकता से जूझ रहे थे। आज बेहतर कानून व्यवस्था के कारण निवेश और विकास की नई संभावनाएं खुल रही हैं। हाल ही में हुई 60,244 पुलिसकर्मियों की भर्ती में अलीगढ़ से 1,344 युवाओं का चयन हुआ, जिसे उन्होंने स्थानीय परिवारों के लिए गर्व का क्षण बताया। उन्होंने कहा कि आगे हम यूपी पुलिस में 30 हजार और भर्तियां करने वाले हैं। उन्होंने कहा, "2017 से पहले सरकारी नौकरियां कुछ परिवारों की बपौती थीं, लेकिन अब चयन मेरिट के आधार पर हो रहा है। लॉजिस्टिक्स और निवेश परियोजनाएं इस बात का प्रमाण हैं।" सीएम योगी ने कहा कि अलीगढ़ ने मूर्ति के निर्माण को लेकर के पूरे देश के अंदर एक नया केंद्र बिंदु बना है। सीएम ने रक्षाबंधन और जन्माष्टमी के लिए उत्साह व्यक्त करते हुए कहा कि स्थानीय उत्पादों को बढ़ावा देने के लिए सभी लोग अपने स्वजनों को स्वदेशी उत्पादों को उपहार में दें। इससे हमारी मेहनत का पैसा हमारे घर में ही रहेगा। योगी ने कहा कि सरकार 8 से 10 अगस्त तक महिलाओं के लिए मुफ्त बस यात्रा की सुविधा प्रदान कर रही है। सीएम ने जनप्रतिनिधियों के योगदान को सराहते हुए कहा कि आपके द्वारा चुने गए जनप्रतिनिधियों ने डबल इंजन सरकार को समर्थन देकर अलीगढ़ के विकास को गति दी है। हम उनकी अपेक्षाओं पर खरा उतरने के लिए प्रतिबद्ध हैं।

कनाडा के गुरुद्वारे में खालिस्तान दफ्तर की शुरुआत, सर्रे में दूतावास के रूप में उद्घाटन

कनाडा  कनाडा के ब्रिटिश कोलंबिया प्रांत के सर्रे शहर में एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है। यहां स्थित गुरु नानक सिख गुरुद्वारा और प्रतिबंधित खालिस्तानी संगठन  SFJ (सिख्स फॉर जस्टिस)  ने कथित तौर पर 'खालिस्तान की एंबेसी' (Khalistan Embassy) खोल दी है। यह दफ्तर गुरुद्वारे के प्रांगण में बने सामुदायिक केंद्र (community center) में स्थापित किया गया है।बताया जा रहा है कि इस कथित एंबेसी के लिए कनाडा और अमेरिका से चंदा जुटाया गया था। ये वही नेटवर्क हैं जो कई सालों से विदेशों में बैठकर खालिस्तान आंदोलन को हवा दे रहे हैं। भारतीय समुदाय और विशेषज्ञों ने कड़ी आलोचना की यह वही इमारत है जिसे  ब्रिटिश कोलंबिया सरकार की ओर से सरकारी फंडिंग मिली थी।  हाल ही में सरकार ने इस इमारत में लिफ्ट लगाने के लिए  $1,50,000 (करीब 90 लाख रुपए) की सहायता राशि दी थी। इस घटनाक्रम के बाद स्थानीय नागरिकों, भारतीय समुदाय और विशेषज्ञों ने कड़ी आलोचना की है। उनका कहना है कि सरकारी फंड का इस्तेमाल देश विरोधी गतिविधियों के लिए किया जा रहा है।  यह न केवल कनाडा की राष्ट्रीय एकता के खिलाफ है बल्कि अंतरराष्ट्रीय आतंकवाद को भी बढ़ावा देता है।  खालिस्तानी विचारधारा समाज में नफरत और विभाजन फैलाने का काम कर रही है।   अतीत से जुड़ी मिसाल  यह कोई पहली बार नहीं है जब खालिस्तानी समूह ने इस तरह की गतिविधि की हो। 1980 के दशक में जगजीत सिंह चौहान , जो खुद को ‘खालिस्तान का राष्ट्रपति’ बताते थे, ने  इक्वाडोर में भी 'खालिस्तान एंबेसी' खोली थी। बाद में वह भारत लौट आए और शांतिपूर्वक जीवन बिताया।  सरकार की चुप्पी  पर सवाल   ब्रिटिश कोलंबिया सरकार और कनाडा सरकार ने इस गतिविधि को क्यों नहीं रोका? क्या सरकारी फंड का दुरुपयोग नहीं हुआ?  क्या इससे समाज में नफरत फैलाने वाली ताकतों को बल नहीं मिलेगा? 

CBI बनकर फंसाया, डिजिटल अरेस्ट का ड्रामा रचा और ठग लिए 20.81 लाख, MP में छह गिरफ्तार

देवास डिजिटल अरेस्ट के अपराधों को करने वाले संगठित गिरोह को दबोचने में जिले की सतवास थाना पुलिस को सफलता मिली है। इस गिरोह के सदस्यों ने सतवास के एक व्यक्ति को पुलिस, सीबीआई का अधिकारी बताकर मनी लांड्रिंग का केस चलने की बात करके डिजिटल अरेस्ट कर लिया था और 20.81 लाख रुपए जमा करवा लिए थे। मामले में पुलिस ने छह आरोपितों को गिरफ्तार किया है जो दिल्ली, महाराष्ट्र, इंदौर, नीमच आदि क्षेत्रों के रहने वाले हैं। आरोपितों में से एक ने खुद को सीबीआई चीफ आकाश कुलहरि बताकर वीडियो कॉल पर बात की थी। खुद को कोलाबा थाने का अधिकारी बताया देवास पुलिस अधीक्षक पुनीत गेहलोद ने बताया सतवास निवासी प्रमोद गौर के पास 24 जून 2025 को एक फोन कॉल आया जिसमें सामने वाले ने कोलाबा पुलिस स्टेशन मुंबई का अधिकारी स्वयं को बताया और कहा नरेश गोयल के साथ मनी लांड्रिंग केस में आप शामिल हैं, केनरा बैंक मुंबई में आपका खाता है जिसकी सीबीआई जांच चल रही है जिसके सुप्रीम कोर्ट के नोटिस आपको सोशल मीडिया पर भेजे हैं।   सीबीआई के नाम पर डिजिटल अरेस्ट इसके बाद प्रमोद को वीडियो कॉल किया गया और सामने वाले ने स्वयं को सीबीआई चीफ आकाश कुलहरि बताया और पुलिस, सीबीआई के नाम पर डिजिटल अरेस्ट करके कहा आपके खाते में जितनी भी राशि है, सुप्रीम कोर्ट उसका वेरिफिकेशन कराना चाहती है। इसके बाद फरियादी से 20 लाख 81 हजार रुपए अलग-अलग खातों में आरटीजीएस के माध्यम से डलवाए गए। इन आरोपितों को दबोचा पुलिस ने पुलिस ने सोमेश्वर उर्फ सोम उर्फ सेमीनाम उर्फ सैम, संजय उर्फ संजू उर्फ वैम्पायर, गौरव उर्फ रितिक उर्फ लाला उर्फ गुप्ताजी, हर्ष उर्फ पीटर बास प्रजापति, ऋषिकेश पंवार, सुनील उर्फ सागर जाधव को गिरफ्तार किया है। आरोपित संजय उर्फ संजू पर पहले से हत्या व अन्य धाराओं के मामला दर्ज हैं। कमीशन का लालच देकर अकाउंट लिए किराए पर पुलिस के अनुसार आरोपितों ने सोशल मीडिया पर ग्रुप बनाकर अच्छा कमीशन देने का लालच देकर लोगों के बैंक खाते किराए पर लिए थे, इन खातों में ही धोखाधड़ी की राशि जमा करवाई जाती थी। बैंक खातों के उपयोग के दौरान आरोपी एक शहर से दूसरे शहर में जाने में हवाई यात्रा करते थे। आरोपियों के द्वारा देवास के अलावा मध्य प्रदेश व अन्य राज्यों में इस तरह ठगी की 37 वारदातें की जा चुकी हैं।

प्रेमी के साथ संबंध, फिर रेप का आरोप! कैमरे में कैद हुई हकीकत

गोरखपुर गोरखपुर से मुंबई जा रही ट्रेन में युवती के साथ यौन उत्पीड़न के केस ने दिलचस्प मोड़ आया है। खबर है कि GRP को जांच में पता चला है कि महिला झूठे आरोप लगा रही है और वह अपने प्रेमी के साथ शारीरिक संबंध बनाने के बाद अस्पताल पहुंची थी। खास बात है कि महिला ने पुलिस के बार-बार कहने के बाद भी शिकायत दर्ज नहीं कराई थी। 30 वर्षीय युवती ने आरोप लगाए थे कि उसके साथ चलती ट्रेन में यौन उत्पीड़न हुआ था। रिपोर्ट के अुसार, 13 जुलाई को दादर GRP को अस्पताल से एक फोन आया। पुलिस को जानकारी दी गई कि एक महिला को अस्पताल में भर्ती किया गया है, जिसके निजी अंगों पर चोट के निशान हैं। पुलिस पूछताछ में महिला ने चलती ट्रेन में यौन हिंसा की बात कही। रिपोर्ट के मुताबिक, महिला ने बताया कि वह एक दिन पहले गोरखपुर एक्सप्रेस के जनरल कोच में प्रयागराज से मुंबई जा रही थी। उसने बताया कि वह ट्रेन में वॉशरूम गई और उस समय वहां एक अनजान शख्स भी पहुंच गया। महिला के आरोप थे कि उस शख्स ने यौन हिंसा से पहले अंदर से गेट बंद कर लिया था। महिला अपमान होने की बात कहकर पुलिस शिकायत से इनकार करती रही। बाद में पुलिस ने उसे समझाने की कोशिश की, जिसमें एक एनजीओ की मदद भी ली गई। पुलिस ने इस संबंध में स्वत: संज्ञान FIR दर्ज कर ली। ऐसे खुला राज पुलिस ने जांच के दौरान सीसीटीवी फुटेज खंगाले और मौका-ए-वारदात पर भी पहुंची। जांच में पता चला कि महिला अपने प्रेमी के साथ मुंबई जा रही थी और दोनों ने 12 जुलाई की रात एक गेस्ट हाउस में गुजारी थी, जहां दोनों ने शारीरिक संबंध बनाए। इसके चलते उसे गुप्तांगों में चोट लगी थी और वह अस्पताल में भर्ती हो गई थी।  

ब्रह्मोस मिसाइल से और घातक होगी सेना: ऑपरेशन सिंदूर के बाद तैयारी तेज

नई दिल्ली  ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भारत ने पाकिस्तानी सैन्य ठिकानों को भारी नुकसान पहुंचाया। भारतीय सेना अब भारत-रूस के ज्वाइंट वेंचर ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइलों के लिए बड़ा ऑर्डर दे रही है। एएनआई की रिपोर्ट के मुताबिक, रक्षा मंत्रालय के सूत्रों ने बताया कि जल्द ही हाई लेवल मीटिंग में भारतीय नौसेना के युद्धपोतों के लिए बड़ी संख्या में ब्रह्मोस मिसाइलों की खरीद को मंजूरी दी जा सकती है। साथ ही, भारतीय वायु सेना के लिए भी इन मिसाइलों के जमीनी और हवाई वैरिएंट खरीदे जाएंगे। पाकिस्तान के वायु ठिकानों और सेना के कैंपों पर हमले के लिए इन मिसाइलों का इस्तेमाल बड़े पैमाने पर किया गया। नौसेना इन मिसाइलों को अपने वीर-कैटेगरी के युद्धपोतों पर तैनात करने वाली है, जबकि वायु सेना इन्हें अपने रूसी मूल के सुखोई-30 MKI लड़ाकू विमानों पर लगाएगी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बीते दिनों स्वदेशी हथियारों की तारीफ की थी। उन्होंने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर के दौरान दुनिया ने हमारे स्वदेशी हथियारों की ताकत देखी। हमारे एयर डिफेंस सिस्टम, मिसाइलें और ड्रोन ने आत्मनिर्भर भारत की शक्ति दिखाई, खासकर ब्रह्मोस मिसाइलों ने। आतंकी मुख्यालयों पर किया हमला भारत ने पाकिस्तान में आतंकवादी ठिकानों जैसे जैश-ए-मोहम्मद और लश्कर-ए-तैयबा के पंजाब प्रांत में स्थित मुख्यालयों पर हमला किया। भारतीय वायु सेना ने इसके लिए ब्रह्मोस मिसाइल का इस्तेमाल किया। इसने टारगेट को बहुत सटीकता से तबाह कर दिया। ब्रह्मोस ने पाकिस्तानी हवाई ठिकानों को भी नुकसान पहुंचाया, जिसके बाद पाकिस्तानी सेना ने आतंकवादियों और उनके ठिकानों को बचाने की कोशिश में जवाबी कार्रवाई की थी।  

रूस से तेल खरीद पर कायम रहेगा भारत: अमेरिका की नाराज़गी के बावजूद ये हैं 5 ठोस कारण

नई दिल्ली अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने पिछले हफ्ते भारतीय आयात पर 25 प्रतिशत टैरिफ लगाने के साथ ही रूस से तेल एवं गैस खरीदने पर जुर्माना लगाने की भी घोषणा की थी। इस धमकी के बाद वाइट हाउस को उम्मीद थी कि भारत दबाव में आ जाएगा और रूसी तेल के कंटेनर भारतीय बंदरगाहों की ओर आना बंद कर देंगे। लेकिन ट्रंप प्रशासन की उम्मीदों के उलट, भारत ने अपने रुख को और सख्त करते हुए रूसी कच्चे तेल का आयात जारी रखा। भारत ने अमेरिका के उन दावों को सिरे से खारिज कर दिया, जिसमें कहा गया था कि भारत ने रूसी तेल के शिपमेंट लेना बंद कर दिया है। भारत ने सोमवार को ट्रंप की चेतावनी का जवाब देते हुए कहा कि रूसी तेल खरीदने के लिए भारत पर टैरिफ बढ़ाने की धमकी "अनुचित और अव्यवहारिक" है। भारत के इस कड़े जवाब के बाद अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से तीखी प्रतिक्रिया की उम्मीद की जा रही थी- और वैसा ही हुआ। ट्रंप का बयान और भारत का जवाब अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ट्रुथ सोशल पर डोनाल्ड ट्रंप ने लिखा, "भारत न केवल रूस से भारी मात्रा में तेल खरीद रहा है, बल्कि खरीदे गए तेल का एक बड़ा हिस्सा खुले बाजार में बेचकर मोटा मुनाफा कमा रहा है। उन्हें इस बात की परवाह नहीं कि यूक्रेन में रूसी युद्ध मशीन कितने लोगों की जान ले रही है। इस वजह से, मैं भारत द्वारा अमेरिका को भुगतान किए जाने वाले टैरिफ को काफी हद तक बढ़ाने जा रहा हूं।" इसके जवाब में, भारत के विदेश मंत्रालय ने एक बयान जारी कर कहा, "भारत को निशाना बनाना अनुचित और अव्यवहारिक है। किसी भी प्रमुख अर्थव्यवस्था की तरह, भारत अपने राष्ट्रीय हितों और आर्थिक सुरक्षा को सुनिश्चित करने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाएगा।" भारत ने क्यों अपनाया सख्त रुख- 5 बड़े कारण भारतीय शेयर बाजार विशेषज्ञों के अनुसार, नई दिल्ली का रुख केवल व्यापारिक दृष्टिकोण से परे है। भारत दीर्घकालिक लक्ष्यों को ध्यान में रख रहा है, जिसमें राष्ट्रीय अर्थव्यवस्था की सुरक्षा और स्वायत्तता सुनिश्चित करना शामिल है। विशेषज्ञों ने भारत के इस दृढ़ रुख के पांच प्रमुख कारण बताए: 1. ट्रंप-भारत-रूस त्रिकोण बसव कैपिटल के सह-संस्थापक संदीप पांडे ने कहा, “ऑपरेशन सिंदूर के बाद, अमेरिकी राष्ट्रपति ने संकेत दिया था कि पाकिस्तान उनके करीब है, क्योंकि उन्होंने आईएमएफ सहायता को रोकने के लिए अपने वीटो पावर का इस्तेमाल नहीं किया। इसलिए ऐसा लगता है कि भारत ने यह निर्णय लिया है कि अमेरिका उसका 'मित्र' है, जबकि रूस उसका 'भाई' है। जब नई दिल्ली को चुनना होगा, तो वे मित्र के बजाय भाई को चुनेंगे।” 2. भारत-अमेरिका व्यापार समझौते पर नई दिल्ली का कड़ा रुख भारत का जीडीपी काफी हद तक कृषि पर आधारित है। यदि अमेरिका के साथ व्यापार समझौते के तहत कृषि क्षेत्र को विदेशी कंपनियों के लिए खोला जाता है, तो महंगाई, विकास दर जैसे कारक भारत सरकार के नियंत्रण से बाहर जा सकते हैं। संदीप पांडे ने कहा कि भारतीय अर्थव्यवस्था कृषि-प्रधान है, जहां राष्ट्रीय जीडीपी का लगभग दो-तिहाई हिस्सा कृषि क्षेत्र से आता है। इस क्षेत्र को अमेरिका जैसे विदेशी खिलाड़ी के लिए खोलने से राष्ट्रीय अर्थव्यवस्था की सुरक्षा खतरे में पड़ सकती है, क्योंकि महंगाई और आर्थिक विकास जैसे महत्वपूर्ण कारक सरकार के नियंत्रण से बाहर हो सकते हैं। इससे अमेरिका को भारतीय अर्थव्यवस्था तक पहुंच मिल जाएगी, जो भारत के लिए खतरा हो सकता है। 3. रूस से नैफ्था आयात: चीन के दबदबे को चुनौती भारत ने हाल ही में रूस से नैफ्था (Naphtha) का आयात शुरू किया है, जो पेट्रोकेमिकल, प्लास्टिक और रक्षा निर्माण जैसे क्षेत्रों में कच्चे माल की आपूर्ति के लिए अहम है। वाई वेल्थ के निदेशक अनुज गुप्ता ने कहा, "भारत का रूस से कच्चा तेल आयात रोकना असंभव लगता है, क्योंकि भारत ने रूस से नेफ्था आयात शुरू किया है। यह कदम भारतीय अर्थव्यवस्था को मजबूत करने की दिशा में अगला कदम है, जो रासायनिक, प्लास्टिक और रासायनिक रेजिन के आयात में चीन के एकाधिकार को तोड़ने की कोशिश है। रूस-यूक्रेन युद्ध के कारण रूस यूरोपीय और अन्य देशों को नेफ्था निर्यात नहीं कर पा रहा है, जिसके चलते चीन का वैश्विक व्यापार में एकाधिकार बढ़ गया। भारत का यह कदम इस एकाधिकार को तोड़ने की दिशा में है और भारत जल्द ही अपनी घरेलू जरूरतों को पूरा करने के बाद नेफ्था का शुद्ध निर्यातक बन सकता है।" एसएमसी ग्लोबल सिक्योरिटीज की वरिष्ठ शोध विश्लेषक सीमा श्रीवास्तव ने कहा, "रूस से नेफ्था आयात का भारत का निर्णय आर्थिक लचीलापन बढ़ाने और औद्योगिक आधार को मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण रणनीतिक बदलाव है। यह कदम महत्वपूर्ण सप्लाई चैन में विविधता लाता है, जो पारंपरिक स्रोतों पर अत्यधिक निर्भरता को कम करने और पेट्रोकेमिकल्स और रक्षा विनिर्माण जैसे ऊर्जा-गहन क्षेत्रों में लागत को कम करने के लिए आवश्यक है।" 4. आत्मनिर्भर रक्षा प्रणाली का निर्माण भारत लंबे समय से रूस से न केवल हथियार खरीदता रहा है, बल्कि रक्षा तकनीक भी शेयर करता रहा है। नैफ्था आयात से भारत को रक्षा उत्पादन (जैसे फाइटर जेट और ड्रोन्स) में नई ऊर्जा मिलेगी। संदीप पांडे ने कहा, "अमेरिकी प्रशासन रूसी तेल आयात के जरिए कई लक्ष्य साधने की कोशिश कर रहा है। वे जानते हैं कि रूस भारत को लड़ाकू विमान और उनकी तकनीक ट्रांसफर करता है, जिसने भारत को स्वदेशी लड़ाकू विमान विकसित करने की स्थिति में ला दिया है। रूस से नेफ्था आयात शुरू करना भारत-रूस रक्षा संबंधों को मजबूत करने की दिशा में अगला कदम है। यह भारत को लड़ाकू विमानों और रक्षा ड्रोनों के लिए बॉडी विकसित करने में मदद करेगा। इसलिए, रूसी कच्चे तेल के आयात को रोकने की अमेरिकी मांग को स्वीकार करना वास्तविकता से परे है।" 5. जवाबी टैरिफ और डिजिटल टैक्स की तैयारी सेबी-पंजीकृत मूलभूत विश्लेषक अविनाश गोरक्षकर ने कहा, "जिस तरह अमेरिकी सरकार ने भारतीय आयात पर टैरिफ बढ़ाया है, उसी तरह भारतीय सरकार भी अमेरिकी आयात पर टैरिफ बढ़ा सकती है। हालांकि, अमेरिकी टैरिफ एक धमकी की तरह हैं, जबकि भारतीय टैरिफ एक कूटनीतिक कदम होगा। भारत सरकार ऑनलाइन डिजिटल विज्ञापनों से होने वाली आय पर डिजिटल टैक्स फिर से लागू करने पर विचार कर सकती है, … Read more

बकरी पालन बना आजीविका का सहारा, जय बड़ादेव महिला समूह रायपुर में बना प्रेरणा स्रोत

रायपुर : बकरी पालन से आत्मनिर्भरता की मिसाल बनी जय बड़ादेव महिला समूह रायपुर की महिलाओं ने रचा आत्मनिर्भरता का उदाहरण, जय बड़ादेव समूह ने बकरी पालन से बदली किस्मत बकरी पालन बना आजीविका का सहारा, जय बड़ादेव महिला समूह रायपुर में बना प्रेरणा स्रोत रायपुर मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय की मंशा के अनुसार राज्य की महिलाओं के आर्थिक सशक्तिकरण के विशेष प्रयास किया जा रहे हैं। विभिन्न विभागों द्वारा चलाई जा रही हितग्राहीमूलक योजनाओं से जोड़कर उन्हें आर्थिक गतिविधियों में सम्मिलित करते हुए  लाभ के अवसर प्रदान किये जा रहे हैं । ग्रामीण आजीविका मिशन से जुड़कर विशेष प्रशिक्षण प्राप्त कर महिलाएं व्यवसाय प्रारंभ कर आत्मनिर्भर हो रही हैं। महासमुंद जिले के ग्राम गुलझर की महिलाओं ने यह सिद्ध कर दिखाया है कि आत्मनिर्भरता का रास्ता दूर नहीं, यदि सही दिशा, दृढ़ इच्छाशक्ति और सामूहिक प्रयास साथ हों। वर्ष 2019 में गठित जय बड़ादेव महिला स्व-सहायता समूह ने स्थानीय संसाधनों का उपयोग कर आजीविका का सशक्त साधन तैयार किया और अपनी आर्थिक स्थिति को नई दिशा दी। बकरी पालन को बनाया आय का स्थायी माध्यम  समूह की अध्यक्ष श्रीमती गोमती ध्रुव बताती हैं कि उन्होंने शुरुआत में बकरी पालन को एक व्यवसाय के रूप में अपनाया, क्योंकि यह ग्रामीण परिवेश में कम लागत और कम प्रशिक्षण में भी लाभकारी साबित हो सकता है। उनके अनुसार बकरी पालन सिर्फ पशुपालन नहीं, बल्कि आत्मनिर्भरता की ओर बढ़ने का एक प्रभावी माध्यम बन गया है। बिहान योजना से मिली आर्थिक ताकत  बकरी पालन की शुरुआत उन्होंने बिहान योजना के अंतर्गत 1 लाख रुपये के ऋण से की। नियमित किस्त चुकाने के बाद वे ऋणमुक्त हुईं और फिर क्रमशः 2 लाख और 4 लाख रुपये का ऋण लेकर व्यवसाय का विस्तार किया। समय पर ऋण अदायगी के फलस्वरूप समूह को 15 हजार रुपये का रिवॉल्विंग फंड और 60 हजार रुपये का सामुदायिक निवेश कोष भी प्राप्त हुआ। बकरी खाद से अतिरिक्त आय और बाजार में मांग  आज समूह की 8 महिला सदस्यों के पास चार से पाँच बकरियाँ हैं। वे न केवल बकरी पालन कर रही हैं, बल्कि उससे उत्पादित जैविक बकरी खाद को तैयार कर बाज़ार में बेच रही हैं, जिससे प्रत्येक महिला को प्रति माह 4 से 5 हजार रुपये की अतिरिक्त आय हो रही है। बकरी खाद की गुणवत्ता और जैविक प्रकृति के कारण इसकी मांग पुणे जैसे बड़े शहरों में भी बनी हुई है। आकांक्षा हाट में शानदार प्रदर्शन  हाल ही में जिला पंचायत परिसर में आयोजित आकांक्षा हाट में समूह द्वारा लगाए गए स्टॉल में बकरी खाद को लोगों का जबरदस्त प्रतिसाद मिला। इससे महिलाओं का उत्साह और आत्मविश्वास और भी बढ़ा है। प्रेरणास्रोत बनीं ग्रामीण महिलाएं  श्रीमती गोमती ध्रुव और उनकी साथी महिलाओं ने यह सिद्ध कर दिखाया है कि यदि ग्रामीण महिलाएं संगठित होकर कार्य करें और शासन की योजनाओं का सही लाभ उठाएं, तो न केवल वे अपनी आजीविका को सशक्त बना सकती हैं, बल्कि अन्य महिलाओं के लिए प्रेरणा का स्रोत भी बन सकती हैं। समूह की महिलाएं बिहान योजना और अन्य आजीविका उन्मुख सरकारी योजनाओं के लिए शासन का आभार व्यक्त करती हैं, जिन्होंने उन्हें यह मंच और अवसर प्रदान किया।

आपदा में जान गंवाने वालों के परिजनों को मिलेगा आर्थिक सहारा, अम्बिकापुर में 48 लाख मंजूर

अम्बिकापुर  जिला प्रशासन द्वारा प्राकृतिक आपदा में मृतकों के वारिसों को 48 लाख रुपये की आर्थिक सहायता राशि स्वीकृत की है। जिसमें तहसील अम्बिकापुर के भिटटीकला निवासी उपदेव यादव की मृत्यु पानी में डूबने से होने पर उनके वारिस रनमेत यादव, तहसील दरिमा के नवापाराकला निवासी रूपनारायण की मृत्यु पानी में डूबने से होने पर उनके वारिस रामबाई, तहसील दरिमा के कतकालो निवासी पार्वती राजवाड़े की मृत्यु पानी में डूबने से होने पर उनके वारिस प्रदीप राजवाड़े, तहसील उदयपुर के पण्डरीपानी निवासी सीता सिरदार की मृत्यु पानी में डूबने से होने पर उनके वारिस पोलेश्वर प्रसाद, तहसील कुन्नी लखनपुर के तुनगुरी निवासी सुरेन्द्र राजवाड़े की मृत्यु सांप के काटने से होने पर उनके वारिस हीरा बाई, तहसील कुन्नी लखनपुर के मांजा निवासी प्यारी बाई की मृत्यु पानी में डूबने से होने पर उनके वारिस लक्षन राम, तहसील सीतापुर के खड़ादोरना निवासी शिवम गुप्ता की मृत्यु पानी में डूबने से होने पर उनके वारिस अमित गुप्ता, तहसील बतौली के कुनकुरीकला निवासी सुरजपति की मृत्यु पानी में डूबने से होने पर उनके वारिस भागीरथी पैकरा, तहसील लुण्ड्रा के बरगीडीह निवासी विक्रम उर्फ डललू तिवारी की मृत्यु पानी में डूबने से होने पर उनके वारिस घनश्याम तिवारी, तहसील लुण्ड्रा के उदारी निवासी लोकेश पैकरा की मृत्यु सांप के काटने से होने पर उनके वारिस सोना सिंह, तहसील रघुनाथपुर लुण्ड्रा के बदगरी निवासी रामलाल खोई की मृत्यु आकाशीय बिजली गिरने से होने पर उनके वारिस सुषमा सिंह, एवं तहसील धौरपुर निवासी फुलेश्वरी कुजूर की मृत्यु सांप के काटने से होने पर उनके वारिस रीखू कुजूर को 4-4 लाख रुपये की आर्थिक सहायता अनुदान राशि स्वीकृत की है। इस राशि की मंजूरी राजस्व पुस्तक परिपत्र खण्ड 6-4 संशोधित प्रावधानों के तहत प्राकृतिक आपदा राहत के अंतर्गत दी गई है।

उत्तरकाशी में भारी त्रासदी: बादल फटने से पहाड़ी मलबा गिरा, कई घर जमींदोज

धराली उत्तराखंड में इस समय कुदरती आफत पीछा नहीं छोड़ रही है। आज उत्तरकाशी के धराली गांव में अचानक बादल फट गया। बादल फटते ही पहाड़ का मलबा सैलाब बनकर नीचे आ गया। लोगों में इस भयावह घटना को देखते ही चीख-पुकार मच गई। बादल फटने से खीर गंगा ऊफान पर आ गई। राली बाजार व आसपास के क्षेत्र के भारी नुकसान पहुंचा है। यहां कुछ लोगों के दबे होने की भी सूचना है। हर्षिल से आर्मी,पुलिस,एसडीआरएफ की टीम मौके पर पहुंच गई हैं। बादल फटते ही पहाड़ से आया सैलाब उत्तरकाशी के धराली गांव में दोपहर बादल फटने के बाद पहाड़ से ढेर सारा मलबा सैलाब बनकर नीचे आ गया। इसके चलते कई लोगों के दबे होने की आशंका भी है। वीडियो में देखने पर पता चलता है कि यह जलजला कितना भयावह था। लोगों ने यह दृश्य देखते चीख-पुकार मचाना शुरू कर दी। जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी शार्दुल गुसांई ने बताया रेस्क्यू टीम मौके के लिए रवाना हो गई है। लोग वीडियो बनाते वक्त चीख रहे थे। सीएम ने जताया घटना पर दुख उत्तरकाशी में हुए इस भयानक हादसे पर सीएम पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि धराली (उत्तरकाशी) क्षेत्र में बादल फटने से हुए भारी नुकसान का समाचार अत्यंत दुःखद एवं पीड़ादायक है। राहत एवं बचाव कार्यों के लिए SDRF,NDRF,जिला प्रशासन तथा अन्य संबंधित टीमें युद्ध स्तर पर जुटी हुई हैं। इस सम्बन्ध में लगातार वरिष्ठ अधिकारियों से संपर्क में हूं और स्थिति की गहन निगरानी की जा रही है। ईश्वर से सभी के सकुशल होने की प्रार्थना करता हूं। उत्तराखंड पुलिस ने दी अपडेट उत्तराखंड पुलिस ने अपने एक्स हैंडल से बताया कि उत्तरकाशी,हर्षिल क्षेत्र में खीर गाड़ का जलस्तर बढने से धराली में नुकसान होने की सूचना पर पुलिस,SDRF,आर्मी आदि आपदा दल मौके पर राहत एवं बचाव कार्य में जुटे हैं। उक्त घटना को देखते हुए सभी नदी से उचित दूरी बनाएं। पुलिस ने सचेत करते हुए स्वयं,बच्चों व मवेशियों को नदी से उचित दूरी पर ले जाने को कहा है।